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समाजशास्त्र की प्रकृति का वर्णन कीजिए।

समाजशास्त्र की प्रकृति का वर्णन – समाजशास्त्र एक विज्ञान है क्योंकि इसमें वैज्ञानिक पद्धति का प्रयोग किया जाता है, अवलोकन विधि की सहायता से तथ्य एकत्रित किये जाते हैं, उन्हें व्यवस्थित और क्रमबद्ध किया जाता है, पक्ष-पात-रहित होकर निष्कर्ष निकाले जाते हैं तथा सिद्धांतों का निर्माण किया जाता है। समाजशास्त्र को विज्ञान मानने के प्रमुख आधार या कसौटियाँ निम्नलिखित हैं।

समाजशास्त्र की प्रकृति का वर्णन

सांस्कृतिक विविधता पर एक टिप्पणी लिखिए।

  • (1) समाजशास्त्र में तथ्यों का वर्गीकरण एवं विश्लेषण किया जाता है।
  • (2) समाजशास्त्र में “क्या है” का वर्णन किया जाता है।
  • (3) समाजशास्त्र में सिद्धांतों की स्थापना की जाती है।
  • (4) समाजशास्त्र के सिद्धांत सार्वभौमिक हैं।
  • (5) समाजशास्त्रीय ज्ञान का आधार वैज्ञानिक पद्धति है।
  • (6) समाजशास्त्र में भविष्यवाणी करने की क्षमता है।
  • (7) समाजशास्त्र में अवलोकन द्वारा तथ्यों को एकत्रित किया जाता है।
  • (8) समाजशास्त्र में कार्य कारण सम्बन्धों की विवेचना की जाती है।
  • (१) समाजशास्त्र सिद्धांतों की पुनर्परीक्षा सम्भव है।

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